संदेश

कबीर

कोई सुबूत न होगा तुम्हारे होने का

टुकड़ों में बिखरा हुआ किसी का जिगर दिखाएँगे

मिला वो🌹 भी नही करते,

इश्क बेचैन ख्यालों को

*_🌹🍃__दौर-ऐ-गज़ल__🍃🌹*

मैं रह कर खामोश भी बोलता रहा।

तमाशा !

‼👌 *अर्थ बड़े गहरे हैं*👌‼

आहिस्ता  चल  जिंदगी,अभी

दर्द कागज़ पर ...

तू पास भी हो तो दिल बेक़रार अपना है

उसको एक नजर क्या देखा ......

दर्द बांटने से बटता है;

तुम कसम न दो मुझे ठहर जाने की जनाब,

कोई तुमसे पूछे

This is Love